उड़न तश्तरी ....

--ख्यालों की बेलगाम उड़ान...कभी लेख, कभी विचार, कभी वार्तालाप और कभी कविता के माध्यम से......

हाथ में लेकर कलम मैं हालेदिल कहता गया
काव्य का निर्झर उमड़ता आप ही बहता गया.

गुरुवार, मई 29, 2008

आँधी तो आँधी होती है

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बस कुछ यूँ ही उमड़ते घुमड़ते ख्याल: चाहे नाम धरम का रख लो या कि दिल में नफरत भर लो देखो, इक दिन पछताओगे अभी स्वयं को वश में कर लो. आँधी तेज हव...
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मंगलवार, मई 27, 2008

सही तस्वीर मानो कि आईना!

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कुछ लोगों को चुपचाप खड़े लोगों से ही परेशानी रहती है. कैसे विघ्नसंतोषी हैं यह? बस, कोशिश करो कि उनकी हरकतों से विचलित न हो. याद रखो, तुम्हार...
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सोमवार, मई 26, 2008

किस की नजर लगी तुझे मेरे ब्लॉगजगत!

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ब्लॉगजगत में जो चल रहा है, जो वातावरण बना है, सभी एक घुटन का अहसास कर रहे हैं. बस, चन्द मुट्ठी भर लोग, सारा माहौल खराब कर हैं. उनका होना या...
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रविवार, मई 25, 2008

इक तेरी नजर का

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कब से उधार बाकी है, इक तेरी नजर का अब तक खुमार बाकी है, इक तेरी नजर का. जिंदा हूँ अब तलक मेरी सांसे भी चल रहीं, उन्हें इन्तजार बाकी है, इक त...
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बुधवार, मई 21, 2008

पुलिसिया हेलीकाप्टर

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कल दफ्तर से घर की तरफ चला तो हाईवे पर एकाएक मेरी कार के उपर उपर हेलीकाप्टर उड़ता नजर आने लगा. पुलिस वालों का था. आकस्मिक सहायता एवं कानून व्य...
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सोमवार, मई 19, 2008

पी गये उधार में...

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जिस किसी ने भी जीवन में कभी इश्क में चोट खाई हो या किसी को खाते हुए देखा,पढ़ा या सुना हो, उन सभी को आमंत्रण है. आईये, आईये-महफिल सजी है. गज़ल ...
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शनिवार, मई 17, 2008

गीत सम्राट श्री राकेश खंडेलवाल जी को बधाई

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आज मई १८, २००८ चिट्ठाजगत के प्रिय गीत सम्राट श्री राकेश खंडेलवाल जी का जन्म दिन है. इस शुभ अवसर पर हमारी तरफ से अनेकों बधाई और शुभकामनाऐं ...
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गुरुवार, मई 15, 2008

अब भी संभलो

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चीन में आये भूकंप के बाद मन में उठते कुछ भाव. आशा है आप सहमत होंगे: अब भी संभलो यह धरती है जिसे रौंदती दुनिया बन के भीड़. सब सहती है चुप रहती...
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मंगलवार, मई 13, 2008

सहायता चाहिये पर सहायताओं से गुरेज

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सहायता (ऐड) चाहिये पर सहायताओं (ऐड्स) से गुरेज, हद है! बचपन में घर पर एक कहावत सुना करते थे- इतना ज्यादा मिठाई भी मत खा लो कि मीठा कड़वा लगने...
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रविवार, मई 11, 2008

टेन्ट हाऊस वाले को नमन

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आज तक आपने मंचों से कवियों को आयोजकों, श्रोताओं, विज्ञापनदाताओं यदि कोई मैग्जीन भी छपी हो तो और मंचासीन साथी कवियों का आभार करते ही सुना होग...
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गुरुवार, मई 08, 2008

मेरी कामना!!

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मेरा घर उस बड़े से पाईप के अंदर जो सामने ओवर ब्रिज के नीचे लगना था आज उजड़ गया.... ब्रिज बन कर तैयार हो गया शहर के विकास का जीता जागता प्रमाण ...
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मंगलवार, मई 06, 2008

गमछे की लपेट में

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जिस दिन से कनाडा वापस आया हूँ, न जाने आँखे हर तरफ बस एक ही चीज खोज रही हैं-गमछा. बड़ा मिस कर रहा हूँ गमछे को. गमछा मिस कर रहा हूँ इसलिये नही...
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रविवार, मई 04, 2008

कैसे कैसे पूर्वाग्रह!!

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जनवरी माह की ठंड की रात के ११ तो बज ही गये होंगे. सड़क बिल्कुल सुनसान. एक पार्टी से लौटते हुए घर के अंधेरे मोड़ पर गाड़ी मोड़ी तो देखा एक आदमी स...
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गुरुवार, मई 01, 2008

विरह रो रहा है, मिलन गा रहा है

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जबलपुर से निकले हफ्ता होने आया मगर वहाँ बिताये पल यादों में ऐसे रचे बसे हैं कि अब तक यहाँ सेट ही नहीं हो पा रहे है. बहुत भारी मन से आज अपनी ...
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मंगलवार, अप्रैल 29, 2008

नेता टिक्का मसाला: यमी यमी यम यम!!

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कभी कभी लगने लगता था कि मांसाहारी भोजन करके शायद मैं हिंसा कर रहा हूँ. कोई बहुत बड़ा पाप. आत्म ग्लानि होने लगती है और एक अपराध बोध सा घेर लेत...
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रविवार, अप्रैल 27, 2008

अजब-गजब है ये बात!!

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आज वापस कनाडा पहूँच ही गये पूरे ६ माह भारत में फटाफट व्यतित करके. अभी दो घंटे ही हुए हैं आये. मौसम बेहतरीन है. इस समय ६ डिग्री सेल्सियस हुआ...
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रविवार, अप्रैल 20, 2008

टिप्पणी कर और गाली खा!!

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शब्द पुष्टिकरण यानि वर्ड वेरिफिकेशन. आजकल अन्तर्जाल की दुनिया में आपकी अन्तर्जालिय सुरक्षा के लिये सुझाया गया बहुचर्चित तकलीफदायक उपाय. कम ...
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सोमवार, अप्रैल 14, 2008

इनसे मिलिये-मेरे सहपाठी

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बचपन से परिचित-हम सहपाठी थे दर्जा आठ तक. फिर उसकी पढ़ाई की रफ्तार शनैः शनैः मद्धम पड़ गई और ११ वीं तक आते आते उसकी शिक्षा यात्रा ने उस वक्त के...
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रविवार, अप्रैल 06, 2008

अपनी औकात में रहो तुम!!!

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महेन्द्र मिश्र जी के ब्लॉग पर इस समाचार को पढ़ता था: कम्प्यूटर वाइरस ने ३९ अपात्रो को सरकारी नौकरी दिलवाई ? बड़ा गुस्सा आया. ये मजाल एक कम्प...
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बुधवार, अप्रैल 02, 2008

बिटिया का बाप

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नया जमाना आ गया था. एक या दो बच्चे बस. बेटा या बेटी-क्या फरक पड़ता है. दोनों ही एक समान. शिब्बू नये जमाने का था उस समय भी. खुली सोच का मालि...
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समीर लाल की उड़न तश्तरी... जबलपुर से कनाडा तक...सरर्रर्रर्र...
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